Top 5 This Week

spot_img

Related Posts

विजय कुमार का जीवन परिचय (Vijay Kumar Sport Shooter Biography)

विजय कुमार का जीवन परिचय, कौन है, शूटर, ओलंपिक, जन्म, परिवार, उम्र, हाइट, मेडल [Vijay Kumar Sport Shooter Biography In Hindi] (Kaun hai, Olympic, Birth, Family, Age, Height, Medel)

विजय कुमार भारत के स्पोर्ट्स शूटर है. इन्होंने भारत को 2012 के ओलंपिक में सिल्वर मैडल दिलाया था. विजय भारत के पसंदीदा शूटर में से एक है. विजय भारतीय आर्मी के सैनिक भी है. 2 साल तक इंडियन आर्मी में सेवा देने के बाद, इनको शूटिंग में अपना प्रोफेशन बनाने का विचार आया. विजय सातवें शूटर है, जिन्होंने भारत को ओलंपिक में पदक दिलाया था. वे हमेशा कड़ी मेहनत, अनुशासन और ईमानदारी में विश्वास करते है और उनका यह भी मानना है कि इन गुणों ने ही उन्हें इस मुकाम तक पहुँचाया है.

विजय कुमार का जीवन परिचय (Vijay Kumar Biography)

पूरा नामसूबेदार मेजर विजय कुमार
जन्म19 अगस्त, 1985
जन्म स्थानहरसौर गाँव, हमीरपुर जिला, हिमाचल प्रदेश
पिता का नाममिस्टर बंकूर  राम शर्मा
माता का नामरोशनी देवी
भाईमिस्टर अजय
पर्सनल कोचस्मिर्नोक परेल (रसिया)
नेशनल कोचसनी थॉमस
प्रोफेशनइंडियन आर्मी
केटेगरी25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल प्रतियोगिता
मास्टर आई (Eye)दाहिनी (Right)

विजय कुमार का जन्म, परिवार एवं उम्र (Vijay Kumar Birth, Age, Family)

विजय कुमार का जन्म 19 अगस्त 1985 को हरसौर गाँव के हमीरपुर जिला, हिमाचल प्रदेश में हुआ था. विजय के पिता का नाम बंकुर राम शर्मा है, जो इंडियन आर्मी में सूबेदार मेजर थे (अब रिटायर हो चुके है). विजय के एक भाई भी है, अजय जो एक MCA ग्रेजुएट है.

विजय कुमार की शिक्षा (Vijay Kumar Education)

विजय ने अपनी स्कूल की पढाई हमीरपुर जिला से ही की. विजय का सपना बचपन से ही इंडियन आर्मी ज्वाइन करने का था. स्कूल के समय से ही विजय अपने सपने को साकार करने की ओर अग्रसर थे. विजय बचपन से ही बहुत मेहनती और अनुशासित बच्चे थे, उनका यही अनुशासन उनको आगे इंडियन आर्मी में काम आया.

विजय कुमार शुरुवाती करियर (Vijay Kumar Shooter Life History)

स्कूल की पढाई करते ही विजय ने 2001 में इंडियन आर्मी ज्वाइन कर ली थी. इसके साथ ही विजय का सपना पूरा हुआ. विजय का इंडियन आर्मी ज्वाइन करने का एक और उद्देश्य ये था कि वे अपने परिवार की आर्थिक तौर पर मदद करना चाहते थे. विजय कुमार ने इंडियन आर्मी में सूबेदार मेजर (Warrant Officer class 1) थे, जो डोगरा रेजिमेंट में थे. सन 2003 में विजय कुमार की पोस्टिंग इंडियन आर्मी मार्क्समेनशीप यूनिट (AMU) महू, इंदौर, मध्यप्रदेश हुई, जहाँ इन्होने शूटिंग में करियर बनाने की सोची, और यहाँ उनके कोच रसिया के स्मिर्नोक परेल थे. वे हफ्ते में पांच दिन रोज 5-6 घंटे प्रैक्टिस किया करते थे.

VIJAY KUMAR

विजय कुमार शूटिंग करियर (Vijay Kumar Shooter Career)

2006 – शूटिंग में करियर बनाने के बाद, विजय 2006 में लाइमलाइट में आये, जब उन्होंने ऑस्ट्रेलिया, मेलबर्न में आयोजित कॉमनवेल्थ गेम्स में ‘25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल प्रतियोगिता’ सिंगल में गोल्ड मैडल जीता. इसके साथ ही ‘25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल प्रतियोगिता’ जोड़े में ‘पेम्बा तमांग’ के साथ भी विजय विजयी रहे और गोल्ड मैडल जीता. इस जीत के साथ, विजय 25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल प्रतियोगिता में नंबर रैंकिंग में आ गए, और समस्य दुनिया उन्हें जानने लगी. इसी साल भारत सरकार ने उन्हें अनेकों पुरुस्कार दिए, जिसमें से मुख्य अर्जुन अवार्ड था. इसी साल विजय ने दोहा, कतार में आयोजित ‘एशियन गेम्स’ में विजय ने  ‘25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल प्रतियोगिता’ में ब्रोंज मैडल जीता था, इसमें चाइना के ‘लिऊ ज्होंगशेंग’ विजयी रहे थे. इसी एशियन गेम में ‘25 मीटर सेंटर फायर पिस्तौल’ एवं ’25 स्टैण्डर्ड पिस्तौल’ में भारत के ‘जसपाल राना’ विजयी रहे, जिन्हें गोल्ड मैडल मिला था. इसके साथ ही ‘25 मीटर सेंटर फायर पिस्तौल टीम’ प्रतियोगिता में समरेश जंग, जसपाल राना एवं विजय कुमार ने मिलकर जीत हासिल की और भारत को गोल्ड मैडल दिलाया था.  

2007 – सन 2007 में आयोजित एशियन चैम्पियनशीप  में ‘25 मीटर सेंटर फायर पिस्तौल प्रतियोगिता’ में विजय दुसरे स्थान में आये.

2009 – सन 2009 में विजय ने बीजिंग में आयोजित ISSF वर्ल्ड कप प्रतियोगिता में भाग लिया, जहाँ इन्हें सिल्वर मैडल मिला. इस पुरे साल विजय ने कड़ी मेहनत की, ताकि वे अगले साल दिल्ली में आयोजित होने वाले कॉमनवेल्थ गेम्स में बेहतर प्रदर्शन दे सकें.

2010 – सन 2010 में अपने देश भारत में कॉमनवेल्थ गेम्स का आयोजन किया गया, जहाँ विजय ने भी हिस्सा लिया. ये विजय के लिए बड़ा मौका था, क्यूंकि अपने ही देश में गेम्स होने की वजह से समस्त देशवासियों की नजरें उन पर टिकी थी, और सब उनसे ढेरों मैडल की उम्मीद लगाये बैठे थे.  विजय कुमार ने यहाँ अपने आप को साबित भी कर दिखाया, और अनेकों मैडल के साथ करोड़ो लोगों का दिल भी जीत लिया. इस कॉमनवेल्थ में उनकी परफॉरमेंस देखने लायक थी, पूरी दुनिया में इन्होने अपनी प्रतिभा का डंका बजाया. इस गेम में आयोजित ‘25 मीटर सेंटर फायर पिस्तौल (पेयर्स)’ में विजय कुमार ने हरप्रीत सिंह के साथ जीत हासिल कर गोल्ड मैडल जीता. इसके अलावा ‘25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल (सिंगल)’ में विजय ने गोल्ड मैडल जीता. ‘25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल (पेयर्स)’ में भी विजय कुमार, गुरप्रीत सिंह के साथ विजयी रहे, और गोल्ड मैडल जीता. इसमें इनका स्कोर 1162 पॉइंट रहा, जिसने नया कॉमनवेल्थ गेम रिकॉर्ड बना दिया था. ‘25 मीटर सेंटर फायर पिस्तौल (सिंगल)’ में विजय भारत के ही हरप्रीत सिंह से हार कर, दुसरे स्थान में रहें और उन्हें सिल्वर मैडल मिला. इस तरह दिल्ली कॉमनवेल्थ 2010 में विजय कुमार को 3 गोल्ड और एक सिल्वर मैडल मिला. जिसके बाद विजय को कॉमनवेल्थ गेम्स का स्टार कहा गया.

2011 – सन 2011 में विजय को अपने आप को साबित करने के ज्यादा मौके नहीं मिले. इस साल इन्होने ‘फोर्ट बेन्निंग टूर्नामेंट’ में बस हिस्सा लिया और इन्हें यहाँ ब्रोंज मैडल मिला.

2012 – विजय कुमार ने सन 2012 में लन्दन में आयोजित ओलंपिक में भारत का प्रतिनिधित्व किया. विजय ने 25 मीटर रैपिड फायर पिस्तौल इवेंट में हिस्सा लिया, जहाँ उन्हें अपने करियर का पहला ओलंपिक सिल्वर मैडल मिला. ये उस ओलंपिक में भारत का दूसरा सिल्वर मैडल था, इसके अलावा रेसलिंग में ‘सुशील कुमार’ ने सिल्वर मैडल भारत के नाम किया था. विजय ने इस गेम को क्वालिफाइ करने के लिए 293 स्कोर किया था, जबकि फाइनल में उनका टोटल स्कोर 585 था. विजय ने लन्दन ओलंपिक के लिए 10 मीटर एयर पिस्तौल (पुरुष) में क्वालिफाइड मैच में हिस्सा लिया, लेकिन वे इसके फाइनल में बाहर हो गए थे. 

2014 – ग्लासगो में आयोजित कॉमनवेल्थ गेम्स में विजय कुमार को भारतीय ध्वज वाहक के लिए चुना गया था. इसमें विजय को कोई मैडल मिला. इसी साल साउथ कोरिया में आयोजित एशियन गेम्स में 25 मीटर सेंटर फायर इवेंट में विजय कुमार ने पेम्बा तमांग एवं हरप्रीत सिंह के साथ सिल्वर मैडल जीता था. इसमें इनका स्कोर 1740 रहा, जो विजयी टीम चाइना से मात्र 2 पॉइंट कम था.

2016 – 2014 के बाद से विजय कुमार का स्वास्थ्य ठीक नहीं रहा, उन्हें कंधे एवं गर्दन में कुछ परेशानी होनी लगी. एक समय ऐसा भी आया था, जब इस महान प्रतिभा वाले विजय के अंदर इतनी भी ताकत नहीं थी कि वे पिस्तौल उठा सकें, और फायर कर सकें. लेकिन विजय ने हार नहीं मानी और अपनी स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए कार्य करने लगे.

इस साल 2016 में आयोजित रियो ओलंपिक में जाने के लिए विजय ने क्वालिफाइ गेम में हिस्सा लिया. यहाँ 14 राउंड में से पांचवें राउंड में विजय ने बस 1 पॉइंट स्कोर किया, और गेम से बाहर हो गए.  इस तरह विजय का 2016 ओलंपिक में जाने का सपना इस हार के साथ ख़त्म हो गया.

विजय कुमार अवार्ड्स, मैडल एवं अचीवमेंट (Vijay Kumar Shooter Awards, Medal)

  • सन 2007 में विजय को भारत सरकार द्वारा ‘अर्जुन अवार्ड’ से नवाजा गया.
  • सन 2012 में भारत के सबसे बड़े खेल अवार्ड ‘राजीव गाँधी खेत रत्न’ से भी विजय को सम्मानित किया गया.
  • 2013 में ‘अति विशिष्ठ सेवा मैडल’ से सम्मानित किया गया.
  • 2013 में भारत के चौथे बड़े सम्मान ‘पद्म श्री’ ने विजय कुमार को सम्मानित किया गया.

सन 2012 में ओलंपिक में सिल्वर मैडल जितने के बाद मिले पुरुस्कार –

  • हिमाचल प्रदेश की सरकार द्वारा 1 करोड़ की राशी दी गई. इसके साथ ही स्वतंत्रता दिवस के फंक्शन के मौके पर हिमाचल प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल द्वारा विजय को विशेष सम्मान दिया गया और ‘हिमाचल गौरव अवार्ड’ से सम्मानित किया गया.
  • इसके साथ ही हिमाचल सरकार ने सोलन जिले के औद्योगिक एरिया बद्दी गाँव में आवासीय भूखंड की भी पेशकश की.
  • राजस्थान सरकार द्वारा 50 लाख की राशी दी गई.

अफवाह उड़ी थी कि विजय इंडियन आर्मी छोड़ रहें है, इस पर जब विजय से पुछा गया तो उन्होंने कहा ये सब कुछ जो उन्हें मिला है, आर्मी की वजह से ही मिला है. ये उनके करियर में मुख्य भूमिका निभाता है, जिसे वो नहीं छोड़ेंगें. हम विजय कुमार को उनके आने भविष्य के लिए शुभकामनाएं देते है.

विजय कुमार के बारे में ताज़ा खबर (Latest Update)

ओलंपिक सिल्वर मेडलिस्ट पिस्टल निशानेबाज विजय कुमार को यह बात सुनकर आश्चर्य हुआ कि भारतीय खेल प्राधिकरण (SAI) ने हाई परफॉर्मेंस कोच (HPC) के पद के लिए उनका नाम नजरअंदाज कर दिया है, और उन्हें निर्णय के बारे में सूचित करना भी उचित नहीं लगा। उन्हें इससे चौंकने को मिला।

होम पेजयहाँ क्लिक करें

FAQ

Q : ओलिंपिक में विजय कुमार कौन है?

Ans : रजत पदक विजेता पिस्टल निशानेबाज.

Q : विजय कुमार की उम्र कितनी है?

Ans : 38 साल

Q : विजय कुमार इंडियन आर्मी में किस पोस्ट पर थे?

Ans : सूबेदार मेजर विजय कुमार

Q : विजय कुमार के पिता कौन थे?

Ans : बंकुर राम शर्मा है, जो इंडियन आर्मी में सूबेदार मेजर थे

Q : विजय कुमार ने कितने मैडल अपने नाम किये?

Ans : ओलिंपिक में इन्हें सिल्वर मैडल मिला था.

अन्य पढ़े:

Anubhuti
यह मध्यप्रदेश के छोटे से शहर से है. ये पोस्ट ग्रेजुएट है, जिनको डांस, कुकिंग, घुमने एवम लिखने का शौक है. लिखने की कला को इन्होने अपना प्रोफेशन बनाया और घर बैठे काम करना शुरू किया. ये ज्यादातर कुकिंग, मोटिवेशनल कहानी, करंट अफेयर्स, फेमस लोगों के बारे में लिखती है.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Popular Articles